नेतृत्व विहीन शहडोल का क्या कायाकल्प होगा
शहडोल।भारतीय जनता पार्टी के पूर्व जिला महामंत्री कैलाश तिवारी ने मध्य प्रदेश के मुख्यमंत्री श्री शिवराज सिंह चौहान के शहडोल आगमन का स्वागत करते हुए कहा है कि आशा है कि उनके आने से शहडोल जो कि नेतृत्व विहीन सा है जिले वासियों को एक आशा जागृत हुई है की जिले का कायाकल्प होगा ।मुख्यमंत्री जी ने जिले को हर चीज दी है संभाग मेडिकल कॉलेज इंजीनियर कॉलेज आदि सैकड़ों उदाहरण है। लेकिन आदिवासी बहुल क्षेत्र का नेतृत्व कर्ता ना होने के कारण आम जनता असहाय पा रही है। छोटी-छोटी बातों के निराकरण के लिए उसको भटकना पड़ रहा है। भारतीय जनता पार्टी के नेता ने कहा है कि करो ना महामारी के कारण अनेक समस्याएं इस काल में सामने आई है जैसे मेडिकल कॉलेज तथा जिले के समस्त चिकित्सालयों में डॉक्टर एवं पैरामेडिकल स्टाफ की पर्याप्त कमी ।जिसके कारण जो कार्य प्राथमिक स्वास्थ्य केंद्र मे हो सकता था उसके लिए पीड़ितों को जिला केंद्र तक आना पड़ रहा है। ऐसे में जिला क्राइसिस मैनेजमेंट की बैठक में यह तय किया जाना चाहिए कि जितने भी रिक्त पद हैं उसे तत्काल एक सप्ताह में भरा जाए तथा चिकित्सा केंद्रों को साधन संपन्न किया जाए। साधन के अभाव में इच्छाशक्ति होने के बावजूद भी कार्य करने में पर्याप्त सफलता नहीं मिल पाती है। भारतीय जनता पार्टी के नेता ने मांग की है कि शहडोल संभाग मुख्यालय के उन प्राइवेट हॉस्पिटलों को करोना रोगियों का इलाज करने की अनुमति नहीं दी जाए जिनके पास सुविधा नहीं है नहीं जिनके पास एमडी डॉक्टर ना ही मान्यता प्राप्त पैथोलॉजी ऑक्सीजन की उपलब्धता ना हो देखा जा रहा है कि शहडोल के निजी चिकित्सालय लूटमार का अड्डा बन गए हैं ।बिल में मनमानी वसूली की जा रही है 5 दिन का ऑक्सीजन सुविधा का ₹18000 निजी चिकित्सालय के द्वारा लिया गया ।इसी प्रकार अनेक मदों में मनमानी बिलिंग कर महामारी काल का फायदा लिया जा रहा है विगत दिवस रेमदेसीविर इंजेक्शन की कालाबाजारी का मामला पुलिस द्वारा पकड़ा गया है जो की बधाई के पात्र है ।लेकिन इससे स्पष्ट हुआ कि यह रैकेट पता नहीं कब से चल रहा था और उसमें कौन-कौन शामिल थे इसकी सीआईडी जांच होना चाहिए ताकि कोई भी अपराधी बच ना पाए । क्योंकि इसमें एक प्राइवेट चिकित्सालय का मैनेजर का नाम भी सामने आ रहा। इसी प्रकार मेडिकल उपकरण के मनमानी रेट लिए जा रहे हैं जो ऑक्सीमीटर ₹700 में मिलता था अब ₹2000 तक बेचा जा रहा है कोई नियंत्रण नहीं है ।एंबुलेंस के लिए भी विगत दिनों किराया दरें निर्धारित की गई है लेकिन इन दरो का पालन कठोरता से किया जाए ।इसके लिए भी जिला स्तर में टीम बनाई जाना चाहिए तभी इस पर नियंत्रण हो सकेगा अन्यथा दरें निर्धारित करने से कुछ नहीं होगा यह विगत का अनुभव बताता है।
मुख्यमंत्री जी के आने से जो आशा एवं विश्वास जागृत हुआ है उस आशा को मुख्यमंत्री जी निश्चय ही पूरा करेंगे।
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